ये हैं प्रीमेनोपाॅज के लक्षण (Warning Signs of Pre Menopause)

जिस तरह पीरियड्स (periods) लडकियों-महिलाओं की जिंदगी का अभिन्न हिस्सा है, ठीक इसी तरह मेनोपाॅज (menopause ) होना भी तय होता है। एक समयावधि के बाद मेनोपाॅज हो जाता है, इसका मतलब है कि पीरियड्स होने बंद हो गए हैं। लेकिन मेनोपाॅज होने से पहले हर महिला को प्रीमेनापाॅज के दौर से गुजरना पड़ता है।

और पढ़ें : प्रेग्नेंसी जर्नी खूबसूरत बनाएं

इसे प्रीमेनोपाॅज कहा जाता है। हालांकि महिलाएं इस दौर को आसानी से समझ नहीं पाती हैं । इस दौरान नजर आ रहे कुछ लक्षणों और साइन (sings and symptoms of pre menopause) को ध्यान में रखकर इस बात का पता लगाया जा सकता है।

चिन (ठुड्डी) पर बाल आ जाना (Growth of chin hair)

हैरानी की बात है कि प्रीमेनोपाॅज के दौरान जहां एक ओर आपके सिर के बाल झड़ने लगते हैं, कमजोर हो जाते हैं, वहीं आपके चिन (chin) पर अनचाहे बाल उगने लगते हैं। ऐसा एंड्रोजेन और एस्ट्रोजेन के स्तर पर आए बदलाव के कारण होता है। जबकि एंड्रोजेन (androgen ) और एस्ट्रोजेन (estrogen)  दोनों का ही स्तर मेनोपाॅज में कम (levels drop during menopause)  हो जाता है।

Read More: Yoga at home for period cramps and lower back

ये दोनों ही महिलाओं के शरीर में पाए जाने वाले हार्मोन (hormone)  हैं। हालांकि एस्ट्रोजेन का स्तर काफी तेजी से गिरता है, लेकिन एंड्रोजेन का स्तर वक्त के साथ-साथ धीरे-धीरे कम होने लता है।

पीरियड्स में बदलाव (Changes in Period)

प्रीमेनोपाॅज की वजह से महिलाओं की पीरियड्स की तारीख बदल जाती है। कभी उन्हें नियमित पीरियड होते हैं, तो कभी-कभी महीनों पीरियड्स नहीं होते हैं। यदि आपके पीरियड्स में 60 दिन का गैप आने लगता है, तो ध्यान रखें कि संभवतः आप मेनोपाॅज के चरण में लगभग पहुंच गई हैं। हालांकि लो-डोज बर्थ कंट्रोल पिल (low dose berth control pill) आपके इस लक्षण में आराम दिला सकती हैं। साथ ही अन्य लक्षणों में राहत दे सकती हैं। लेकिन इस संबंध में विशेषज्ञ से बात कर लेना सही रहता है।

हैवी ब्लीडिंग (heavy bleeding)

प्रीमेनोपाॅज (pre menopause) के दौरान प्रीजेस्ट्रोन नाम के हार्मोन (hormone) में भी काफी ज्यादा गिरावट आती है। इस कारण कभी-कभी आपको हैवी ब्लीडिंग (heavy bleeding) हो सकती है। ऐसा इसलिए क्योंकि आपकी यूटरस यानी गर्भाशय की लाइनिंग झड़ने से पहले काफी थिक हो जाती है। यही नहीं आपको कई अन्य लक्षण भी देखने को मिल सकते हैं और उनकी स्थिति बद से बदतर हो सकती है।

गर्मी लगना (hot flashes)

कुछ महिलाओं को प्रीमेनोपाॅज के दौरान काफी ज्यादा गर्मी लग सकती है। गर्मी इतनी ज्यादा बढ़ सकती है, जिससे हर 5 से 10 मिनट में बहुत ज्यादा पसीने आ जाते हैं। जब प्रीमेनोपाॅज से पीड़ित महिलाएं सुबह उठती हैं और खुद को पसीने से तर-बतर पाती हैं, तो इसे नाइट स्वेट (night sweats) कहा जाता है। ऐसी स्थिति से बचने के लिए हाॅट स्पाइसी फूड (spicy food), गर्म टेम्प्रेचर (warm temperatures)  से दूर रहें।

ऐसी हर चीज से दूर रहें जो गर्मी को बढ़ावा देती हैं। आप द्देप ब्रीथिंग एक्सरसाइज (Deep-breathing exercises) कर सकती हैं, इससे आराम मिलता है। आप अपनी डाइट (diet) में ऐसी चीजों को शामिल करें, जिससे एस्ट्रोजेन (natural source of estrogen) बढ़ता है। इस संबंध में आप डाॅक्टर से बात कर सकती हैं।

योनि में सूखापन (Vaginal Dryness)

चूंकि प्रीमेनोपाॅज के दौरान एस्ट्रोजेन का स्तर कम होने लगता है, तो ऐसे में आपके टिश्यू पतले और सूखने लगते हैं। नतीजतन सेक्स के दौरान आपको दर्द और खुजली हो सकती है। इस वजह से सेक्स में भी आपका मन नहीं लगता और कम उत्साह महसूस करते हैं। हालांकि रेग्यलुर सेक्स (regular sex) करके आपके टिश्यू हेल्दी और टोन्ड रह सकते हैं। आप इस संबंध में अपने विशेषज्ञ से बात कर दवाई ले सकती हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *